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गोदुग्ध, Cow milk

गोदुग्ध, Cow milk

गोदुग्ध, Cow milk

अल्पाभिष्यन्दि गोक्षीरं स्निग्धं गुरु रसायनम्। रक्तपित्त हरं शीतं मधुरं रसपाकयोः।।
जीवनीय तथा वातपित्तध्नं परमं स्मृतम। गव्यतुल्य गुण त्वाजं विशेषाच्छेषिणां हितम्।।
(सुश्रुत संहिता-अ.45, सू. 50-51)

सुश्रुत संहिता में भी गाय के दूध की विशेषता बताई गई है। इसी से यह सिद्ध होता है कि गाय का दूध कितना मूल्यवान् है और बच्चों के लिए सम्पूर्ण पौष्टिक आहार है।

वैज्ञानिक शोधों से भी ज्ञात हुआ है कि गाय का दूध अति उपयोगी और महत्वपूर्ण है। वैज्ञानिकों के अनुसार गाय के दूध में 6 प्रकार के विटामिन्स, 8 प्रकार के प्रोटीन्स, 11 प्रकार के चर्बीयुक्त ऐसिड, 21 प्रकार के एमीनोऐसिड, 25 प्रकार के खनिज तत्व, 16 प्रकार के नाइट्रोजन यौगिक, 4 प्रकार के फास्फोरस यौगिक, 2 प्रकार की शर्करा, लेक्टोज व कार्बाेहाइड्रेड प्रमुख रूप से पाये जाते हैं और इसके अलावा सोना, तांबा, कैल्शियम, आयरन, फ्लोरिन, आयोडीन व सिलिकॉन जैसे मुख्य खनिज भी पाये जाते हैं।

आप सभी समझ सकते हैं कि गाय के दूध में इतने सब तत्व विद्यमान होने से उसकी क्या उपयोगिता होगी। वैज्ञानिक भाषा में कहें, तो गाय का दूध एक पूर्ण टॉनिक के रूप में मानव को उपलब्ध है। इसके सेवन से शरीर में रस, रक्त, मांस, मेदा, अस्थिमज्जा और वीर्य पर्याप्त मात्रा में बनता है।

किसी बच्चे के लिए उसकी मां के दूध के बाद देशी गाय का दूध ही सम्पूर्ण आहार के रूप में उपयोगी होता है। इससे सम्पूर्ण शरीर का विकास होता है। बच्चा स्फूर्तिवान, चैतन्य व पूर्ण स्वस्थ रहता है।

गाय के दूध में केरोटिन नामक पदार्थ पाया जाता है, जो किसी भी शरीर में जाकर विटामिन-ए का निर्माण करता है, यह नेत्रज्योति बढ़ाने और शरीर के विकास के लिए अत्यन्त उपयोगी है। ध्यान दें, भैंस के दूध से 10 गुना अधिक गाय के दूध में केरोटिन पाया जाता है। भैंस के दूध के सेवन से शरीर में आलस्य अधिक रहता है, परन्तु देशी गाय के दूध के सेवन से शरीर में पूर्ण चैतन्यता रहती है।

गाय का दूध हृदय रोगियों के लिए बड़ा ही उपयोगी है। और गाय के दूध में उपस्थित वसा में कन्जूगेटिव लिनोलिन अम्लीय यौगिक (सी.एल.ए) पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है, जो कैंसर की रोकथाम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। देशी गाय का दूध पीने वालों को कैंसर होने की सम्भावना कम होती है, क्योंकि देशी गाय की पीठ पर सूर्य नाड़ी होती है, जो सूर्य के प्रकाश के सम्पर्क में आने पर स्वर्णिम आभायुक्त रस दूध में मिलाती है, जिससे  दूध में स्वर्ण के तत्व समाहित हो जाते हैं।

देशी गाय का दूध पीने से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है।

देशी गाय के दूध में कैल्शियम रहता है, जो हमारी हड्डियों, दांतों तथा नाखूनों को मजबूत करता है।

देशी गाय के दूध में ऐमिनो एसिड पाया जाता है, जो अच्छी नींद आने में सहायक है।

देशी गाय के दूध में मसूर की दाल का चूर्ण और बेसन मिलाकर चेहरे में लगाने से झुर्रियां कम होती हैं।

देशी गाय के दूध में हल्दी और गुलाबजल मिलाकर आंख के नीचे के काले धब्बों में लगाने से वे कम होते हैं।

देशी गाय के दूध में चिरौंजी और सन्तरे के छिलके का चूर्ण मिलाकर मुहांसों में लगाने से वे सही होते हैं।

देशी गाय के ताजे दूध को रुई में भिगोकर आंख में 30 मिनट तक रखने से जलन व दर्द सही होता है।

देशी गाय के दूध को आग में उबालकर उसमें आधा चम्मच हल्दी और गुड़ मिलाकर रात्रि में सोते समय पीने से शरीर का दर्द सही होता है और सर्दी-जुकाम तथा नाक बहने की समस्या से राहत मिलती है।

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